करौली में दंगे का सबसे बड़ा सबूत देखिए: पुलिस के सामने दंगाइयों को ऑर्डर दे रहा था पार्षद, छतों पर छुपे बैठे थे उपद्रवी

करौली में एक पार्षद के इशारे पर तमाशबीन पुलिस के सामने नकाबपोश दंगाई शहर को आग के हवाले करते रहे। पार्षद आगे-आगे चल रहा था और पीछे नकाबपोश हाथ में लाठियां लेकर तोड़फोड़ कर रहे थे, दुकानों में आग लगा रहे थे।
वार्ड 33 के पार्षद मतलूब अहमद के इशारे पर हुए इन दंगों पर पुलिस भी चुप रही। नकाबपोश दंगाई पुलिस के सामने हाथों में लाठियां लेकर गुजरे, लेकिन किसी की हिम्मत नहीं हुई, उन्हें रोकने की। लोग पुलिस से मदद की गुहार लगा रहे थे- बहुत खून बह गया है, अस्पताल पहुंचा दीजिए, लेकिन पुलिस ने काफी देर तक कुछ नहीं किया।
करौली दंगों को आज आठ दिन हो चुके हैं। लोग घरों में कैद हैं, लेकिन मुख्य आरोपी पार्षद अब भी गिरफ्त से दूर है। इन दंगों की वजह जानने के लिए भास्कर के 2 रिपोर्टर 7 दिन से पड़ताल कर रहे हैं। इस दौरान 50 से ज्यादा लोगों से बात की गई, जो दंगों के वक्त वहां मौजूद थे। 100 से ज्यादा वीडियो फुटेज खंगाले गए। इन्हीं वीडियो में एक वीडियो ऐसा है, जो दंगों की पूरी साजिश से पर्दा उठा रहा है।
पथराव के बाद हथियार लहराते घरों से निकले उपद्रवी
नवसंवत्सर (हिंदू नववर्ष) पर शहर में फूटाकोट से गणेश गेट के बीच बाइक रैली गुजर रही थी। छतों पर पहले से पत्थरों का ढेर लगा हुआ था और दर्जनों युवक वहां छिपे हुए थे। जैसे ही बाइक रैली आई, छत से पथराव शुरू कर दिया गया। पथराव से भगदड़ मची तो घरों में पहले से छिपकर बैठे नकाबपोश हाथों में लाठी-सरिए और चाकू लेकर आ गए और हमला कर दिया।
पार्षद दंगाइयों को बता रहा था- आगे क्या करना है
एक वीडियो में दिख रहा है कि पार्षद मतलूब अहमद दंगाइयों से बात कर रहा है। उन्हें बता रहा है कि आगे क्या करना है। बीच-बीच में फोन पर भी बात कर रहा है। वीडियो के इसी फ्रेम में पुलिस भी तमाशबीन की तरह नजर आ रही है। पार्षद के इशारे पर दंगाइयों ने पहले बाइक-दुकानों में तोड़फोड़ की और फिर वाहनों में आग लगा दी। दंगाई चुन-चुनकर दुकानें जला रहे थे। जब दो जीप और 30 से ज्यादा बाइकों को दंगाइयों ने क्षतिग्रस्त कर दिया तो पार्षद ने उन्हें आगे जाने के लिए कहा।
पार्षद और दंगाइयों के जाने के बाद एक्टिव हुई पुलिस
एक जगह पर उपद्रव के बाद पार्षद ने इशारा कर दंगाइयों को वहां से चलने के लिए कहा। इसके बाद दंगाई नारे लगाते हुए और लाठियां लहराते हुए पुलिस के सामने पार्षद के पीछे-पीछे वहां से चले गए। पार्षद और दंगाइयों के जाने के बाद कुछ युवक पीछे से तोड़फोड़ कर रहे थे। ऐसे में पुलिस ने उनसे कहा- अब यहां से निकलो। बहुत तोड़फोड़ हो गई है, सब जा रहे हैं, तुम भी जाओ इधर से।
लोग पुलिस से अस्पताल पहुंचाने के लिए मदद मांगते रहे
दंगों के दौरान लोगों ने इंसानियत का फर्ज निभाया। आग की लपटों के बीच घायलों को अपने घर में शरण दी। वहां के लोगों ने पुलिस से घायलों को अस्पताल पहुंचाने के लिए मदद की गुहार लगाई। कुछ पुलिसकर्मियों ने एंबुलेंस बुलाने के लिए फोन भी किया। एंबुलेंस समय पर नहीं पहुंची तो कुछ खून से लथपथ घायल पैदल ही अस्पताल के लिए रवाना हो गए।
अफसरों को फोन किया- सर क्या करें, जल्दी से और फोर्स भेजिए
रैली के आगे और पीछे करीब 30 से 40 पुलिसकर्मी तैनात थे। दंगा शुरू होने के बाद कुछ पुलिसकर्मियों ने अधिकारियों को फोन कर बताया कि सर रैली में पथराव हो गया है। गाड़ियों और बाइकों में तोड़फोड़ की जा रही है। सर, क्या करें? जल्दी से ओर फोर्स भेजिए। इस दौरान कुछ ऑटोमेटिक हथियारों से लैस पुलिसकर्मियों ने दंगाइयों को भगाने की कोशिश की, लेकिन भीड़ के सामने वे भी बेबस नजर आए। दंगाई उनके सामने ही तोड़फोड़ करते रहे।
पार्षद, बर्खास्त होमगार्ड, पूर्व चेयरमैन सहित 37 के खिलाफ नामजद FIR
पुलिस ने मामले में दोनों पक्षों के 37 लोगों के खिलाफ नामजद FIR दर्ज की है। इसमें एक पक्ष के 20 और दूसरे पक्ष के 17 लोगों के नाम शामिल हैं। नामजद आरोपियों में मतलूब पुत्र महमूद, समसुद्दीन पुत्र अलाउद्दीन, बच्चू पुत्र सरदार, इमामुद्दीन पुत्र मोलाबक्स, आसिफ पुत्र असगर, कुतुबुद्दीन पुत्र अलाउद्दीन, इकरामुद्दीन पुत्र अलाउद्दीन, वसीम पुत्र मोलाबक्स, नदीम पुत्र नजरबंद, सद्दाम पुत्र असगर शामिल हैं।
वहीं, फरमान पुत्र सुल्तान, मच्चन पुत्र गुलाव, यासीन पुत्र इस्लामुद्दीन, काशीम पुत्र घीस्या, अजहरुद्दीन पुत्र विलाद, वसीम पुत्र शहीद, रहमान पुत्र बाबू, सुलेमान बर्खास्त होमगार्ड, फिरोज पुत्र इब्रहिम, हासिम पुत्र इस्लामुद्दीन के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है।
इसी तरह राजाराम गुर्जर पूर्व चेयरमैन करौली, नीरज शर्मा उर्फ नीरु शुक्ला पुत्र मोहनलाल, साहब सिंह गुर्जर हिंदू सेना अध्यक्ष, नीरज योगी पुत्र परभाती योगी, राजा पुत्र छोटेलाल शर्मा, रमन शर्मा पुत्र हरिमोहन शर्मा, पुष्पेंद्र पुत्र बजेंद्र शर्मा,प्रहलाद उर्फ कान्हा, विश्वेंद्र पुत्र अतरसिंह गुर्जर, भल्लू गुर्जर कोचिंग संचालक, रवींद्र डागुर पुत्र जोरमल, वीरेंद्र पुत्र शिशराम गुर्जर, गजेंद्र सिंह पुत्र बलवीर सिंह, मनीष पुत्र राजकुमार, उमेश पुत्र लज्जा, पुष्पेंद्र पुत्र पंकज, विक्की पुत्र पंकज के खिलाफ मामला दर्ज किया है।